ले तो आए हो कान्हा गोकुल के गांव में भजन लिरिक्स || le to aaye ho kanha gokul ke gaav me bhajan lyrics-
(दोहा)
कहते है जिसको श्याम,
वो आनंद कंद है,
और लीला जगत में उसकी,
सबको पसंद है,
लीला रचाने वाला तो,
वो कृष्ण चंद्र है,
छत्तीस राग रागनी,
मुरली में बंद है,
और मुझको तो मुरली वाले की,
मुरली पसंद है।
( भजन )
ले तो आए हो कान्हा गोकुल के गांव में
मुरली की तान सुनाया करना
मोहना मोहना...सांवरा सांवरा...
माया ना मांगू,
मैं तो मोती ना मांगू,
लम्बी जीवन की मैं तो ज्योति ना मांगू,
मांगू तो बस इतना कि, तू मेरे साथ रहे
जीवन की हर पल तू साथ रहे
छोटी से अर्ज मेरी सुन लो कन्हियाँ
चरणों की छाव में बिठाये रखना
सांवरा सांवरा......
मोहना मोहन.....
ले तो आए हो कान्हा गोकुल के गांव में
मुरली की तान सुनाया करना,
कान्हा बिन अब तो रहा नही जाए,
मन ही निराला कहा तोड़ा तोड़ा जाए
क्या है यत्न तू बता दे जरा
रस्ता निहारो कान्हा बैठे तेरे राह में
हमको भी दरस दिखाया करना
सांवरा सांवरा.....
मोहना मोहन.....
ले तो आए हो कान्हा गोकुल के गांव में
मुरली की तान सुनाया करना
सुन लो कन्हियाँ एक विनती हमारी,
हरलो अभी से सारी विपदा हमारी
बस हमको याद रहे एक तेरा नाम
तेरा नाम, ओ मेरे श्याम ,तो घनश्याम
रटते रहे हम तेरा नाम हमेशा
नया को पार लगाए रखना
सांवरा सांवरा......
मोहना मोहन....
ले तो आए हो कान्हा गोकुल के गांव में
मुरली की तान सुनाया करना
ले तो आए हो कान्हा गोकुल के गांव में
मुरली की तान सुनाया करना
सांवरा सांवरा....
मोहना मोहन.....
( गायक-नारायण सेन जामौली )
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